सारंगढ़।नगर के आत्मानंद स्कूल के रंगमंच पर जिला कलेक्टर के.एल. चौहान के द्वारा मतदाता दिवस पर विविध कार्यक्रम का आयोजन किया गया था।कार्यक्रम के शुभारंभ में मुख्य अतिथि जिला न्यायाधीश सुश्री पारुल श्रीवास्तव एवं प्रथम दंडाधिकारी डहरिया जी का पुष्प गुच्छ से स्वागत किया गया। स्वागत के इस क्रम में जिला कलेक्टर का अपर कलेक्टर निष्ठा पांडे तिवारी के द्वारा पुष्प गुच्छ भेंट किया गया। मुख्य अतिथि प्रधान न्यायाधीश सुश्री पारुल श्रीवास्तव जी ने सभी को मतदाता दिवस का शपथ दिलाया।कार्यक्रम को आगे बढ़ाते हुए जिला उप निर्वाचन अधिकारी प्रकाश भारद्वाज ने कहा कि मतदान प्रक्रिया का इतिहास 1909 से 1950 तक की यात्रा है जिसे बेहद बारीकी से बताएं। उन्होंने यह भी बताया कि 26 जनवरी 1950 को हमारा देश गणतंत्र के रूप में अंगीकार किया गया। 25 जनवरी को देश में हर साल मतदान दिवस मनाया जाता है। देश में लोकतांत्रिक नींव रखने के लिए वहां के लोगों का मतदान करना बहुत जरूरी होता है। देश और भारत निर्वाचन आयोग आज 14 वां राष्ट्रीय मतदाता दिवस मना रहा है। आजादी के बाद से 26 जनवरी 1950 में देश में संविधान लागू हुआ था, भारत में 18 वर्ष की आयु के बाद हर आयु और लिंग के लोगों को मतदान का अधिकार है। भारतीय संविधान में हर नागरिकों को कुछ अधिकार है जिसमें से एक मतदान का अधिकार है। देश में हर पांच साल में मतदान होते हैं इसके साथ ही भारत एक लोकतांत्रिक देश है। जहां जनता से, जनता के लिए और जनता का शासन होता है। वोटरों को मतदान के तरफ आगरूक करने के लिए हर वर्ष जनवरी माह में राष्ट्रीय मतदाता दिवस मनाया जाता है।
राष्ट्रीय मतदाता दिवस क्यों, कब से मनाने की शुरुआत हुई, इलेक्शन सिक्योरिटी डेपॉजिट क्या होता है? किस चुनाव में कितनी राशि होती है? और नोटा क्या होता है ? राष्ट्रीय मतदाता दिवस कब होता है?
मुख्य अतिथि प्रधान न्यायाधीश सुश्री पारूल श्रीवास्तव ने बताया कि अधिकार और कर्तव्य क्या होते हैं। मतदान करना हमारा अधिकार है लेकिन हमारा यह कर्तव्य भी है कि हम एक ऐसे योग्य व्यक्ति को मतदान करें, चयन करें, मत देवें जिससे देश-प्रदेश, शहर और गांव का संपूर्ण विकास हो सके। हमें हमारे अधिकारों का उपयोग निस्वार्थ भाव से, प्रलोभन से दूर, जाति , संप्रदाय, वर्ग, धर्म इन सब से दूर रहकर मतदान करना चाहिए। सुश्री श्रीवास्तव ने आगे कहा कि साल 2011 में तत्कालिक राष्ट्रपति प्रतिभा देवी पाटिल ने पहली बार 25 जनवरी को राष्ट्रीय मतदाता दिवस मनाने की शुरुआत की थी, जिसके बाद से हर साल भारत में 25 जनवरी को राष्ट्रीय मतदाता दिवस के रूप में मनाया जाता है। कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी केएल चौहान ने बताया कि भारत निर्वाचन आयोग आज 14 वां राष्ट्रीय मतदाता दिवस मना रहा है। जानें 25 जनवरी को ही क्यों मनाया जाता है मतदाता दिवस ? भारत 1947 में आजादी के तीन साल बाद 1950 में 26 जनवरी को संविधान लागू किया गया था। जिसके एक दिन पहले यानी 25 जनवरी 1950 को चुनाव आयोग की स्थापना हुई थी। जिसकी वजह से आज भारत के चुनाव आयोग के स्थापना दिवस के दिन ही राष्ट्रीय मतदाता दिवस मनाने का फैसला लिया गया। 25 जनवरी के दिन राष्ट्रीय मतदाता दिवस मनाने का मुख्य कारण है। मतदाता दिवस गणतंत्र भारत का अनमोल उत्सव है ,96 करोड़ लोगों के द्वारा अपना प्रतिनिधि मतदान करके चुना जाता है। भारत का प्रजातंत्र विश्व का सर्वश्रेष्ठ प्रजातंत्र है।कलेक्टर साहब ने मंच पर दर्शक दीर्घा के सामने एक प्रश्न रखें कि देश में किसे मतदान करने से वंचित किया गया था। जिसका उत्तर दर्शन दीर्घा के पास नहीं था।पत्रकार भारत अग्रवाल ने बताया कि बंदी और कैदी मतदान नहीं कर सकते, तो वहीं स्वर्णकार ने कहा कि बैंक से जो डिफाल्टर हो जाता है वह मतदान नहीं कर सकता। तब कलेक्टर साहब ने कहा कि यह दोनों उत्तर सही नहीं है देश में सिर्फ बालासाहेब ठाकरे को मतदान करने से वंचित कर दिया गया था। जिसे आप गूगल में सर्च कर सकते हैं।
केएल चौहान ने आगे बताया कि लोकतंत्र की नींव मताधिकार पर ही रखी जाती है। प्रत्येक वयस्क नागरिक को बिना किसी भेदभाव के मत देने का अधिकार है। देश में जितने ही अधिक नागरिकों को मताधिकार प्राप्त रहता है उस देश को उतना ही अधिक जनतांत्रिक समझा जाता है।
सभी नागरिक 18 वर्ष और उससे अधिक उम्र के है, उन की धर्म, जाति और आर्थिक परिस्थितियों के बावजूद वोट देने के लिए स्वतंत्र है। भारत की जनता ने अपने मताधिकार के पवित्र कर्तव्य का समुचित रूप से पालन करके प्रमाणित कर दिया है कि उसे जनतंत्र में पूर्ण आस्था और विश्वास है। नयें मतदाताओं को इपीक कार्ड व पुष्पगुच्छ दिया गया।मंच से एसडीएम मोनिका वर्मा, स्निग्धा तिवारी, तहसीलदार, नायब तहसीलदार, पीठासीन अधिकारी, खनिज अधिकारी एच.डी. भारद्वाज, जिला प्रबंधक सूर्यकांत शुक्ला, पुलिस अधिकारी मनीष कंवर के साथ साथ निर्वाचन में विशेष भूमिका निभाने वालों को प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया गया।अंत में सभी को स्वल्पाहार कराया गया।